2000 Currency Notes Printing: अगर 2000 रुपये के नोट आजकल आपको ATM या प्रचलन में ज्यादा नहीं दिख रहे हैं तो इसकी एक बड़ी वजह है कि सरकार ने नए 2000 के नोटों की छपाई बंद कर रखी है. देखिए सरकार का इसके पीछे क्या कहना है.
नई
दिल्ली: 2000
Currency Notes Printing: क्या 2000
रुपये के नोट बंद होने
वाले हैं,
एक बार फिर ये सवाल
लोगों के जेहन में उठने लगा है. इसके पीछे वजह है कि सरकार ने लोक सभा में खुद
माना है कि बीते दो साल में दो हजार रुपये के नोटों की छपाई नहीं हुई है. सरकार ने
नोटों की छपाई बंद करने को लेकर वजह भी बताई है. लेकिन छपाई बंद होने का मतलब ये
नहीं है कि 2000
के नोट बंद होने वाले
हैं, ये चलन में रहेंगे.
2000 के नोटों की छपाई रुकी
वित्त राज्य मंत्री
अनुराग ठाकुर (Anurag
Thakur) ने संसद में बताया कि 2000 रुपये मूल्य के एक भी करेंसी नोट की पिछले
दो साल में छपाई नहीं हुई है. उन्होंने सोमवार को लोक सभा में इस बारे में जानकारी
दी है. उन्होंने कहा कि रिजर्व बैंक की तरफ से नोटों की कोई डिमांड नहीं की गई, इसलिए नोटों की छपाई नहीं की जा रही है.
नए नोटों की छपाई का ऑर्डर नहीं मिला
अनुराग ठाकुर ने बताया
कि नोटों की डिमांड-सप्लाई को बनाए रखने के लिए सरकार, रिजर्व बैंक की सलाह पर नोटों की छपाई पर
फैसला लेती है. उन्होंने बताया कि 2019-20 और 2020-21 के दौरान 2000 रुपये के नोटों की छपाई को लेकर सरकार को कोई
ऑर्डर नहीं मिला है.
लगातार घटी 2000 के नोट की छपाई
आपको बता दें कि RBI ने 2019 में बताया था कि वित्त वर्ष 2016-17 में 2000 रुपये के कुल 354.2991 करोड़ नोट छापे गए थे. जबकि वित्त वर्ष 2017-18 में केवल 11.1507 करोड़ नोट छापे गए, जो बाद में वित्त वर्ष 2018-19 में घटकर 4.6690 करोड़ रह गए. अप्रैल 2019 के बाद से एक भी नया 2000 का बैंक नोट नहीं छापा गया है. नवंबर 2016 में सरकार ने नोटबंदी का ऐलान किया था, 500 रुपए और 1000 हजार रुपए के नोटों को बंद कर दिया गया था. इसके बाद 500 रुपए और 2 हजार के नए नोट जारी किए गए थे.
2000 के नोटों का इस्तेमाल भी घटा
अनुराग ठाकुर ने बताया
कि नोटों की जमाखोरी,
कालाधन को रोकने के लिए
2000 के नोटों की छपाई पर रोक लगाई गई है. उन्होंने
कहा कि 30
मार्च 2018 को 2000 रुपए के तकरीबन 336.2
करोड़ नोट प्रचलन में
थे. जबकी 26
फरवरी 2021 को 2000 रुपए के नोटों की संख्या केवल 249.9 करोड़ रह गई है.