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  • महान खिलाड़ी Bhaichung Bhutia ने Koo को दिलाई जीत, पीछे हो गया Twitter
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भूटिया ने एक सप्ताह के भीतर ही Koo पर रिकॉर्ड फॉलोअर्स अपने नाम कर लिए. इस प्लेटफॉर्म पर उनके 28,000 से ज्यादा फॉलोअर्स हैं. ट्विटर (Twitter) की तुलना में उनके यह फॉलोअर्स ज्यादा हैं. ट्विटर पर भूटिया के 24,000 से कम फॉलोअर्स हैं.

Written By newsonline | Ahmedabad | Published: 2021-06-04 11:19:28

नई दिल्ली: भारतीय फुटबॉल टीम (Indian Football Team) के पूर्व कप्तान बाइचुंग भूटिया (Bhaichung Bhutia) ने हाल ही में नए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म koo पर कदम रखा और 1 सप्ताह भर में ही उन्होंने अपने ट्विटर (Twitter) फॉलोअर्स की संख्या को इस नए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर पछाड़ दिया. भूटिया ने एक सप्ताह के भीतर ही Koo पर रिकॉर्ड फॉलोअर्स अपने नाम कर लिए. इस प्लेटफॉर्म पर उनके 28,000 से ज्यादा फॉलोअर्स हैं. ट्विटर (Twitter) की तुलना में उनके यह फॉलोअर्स ज्यादा हैं. ट्विटर पर भूटिया के 24,000 से कम फॉलोअर्स हैं. 

बाइचुंग भूटिया ने Koo में रखा कदम 

Koo के सह-संस्थापक अपरमेया राधाकृष्ण ने इस पर कहा, 'जिस तरह से कू परिवार ने भूटिया का स्वागत किया है उससे हम खुश हैं. उन्होंने वैश्विक स्तर पर देश का प्रतिनिधित्व किया है. वह ऐसे खिलाड़ी हैं जिनसे हम सभी प्ररेणा लेते हैं.' कू के एक और सह संस्थापक मयंक बिडावाटका ने कहा, 'भूटिया के इतने कम समय में इतने फॉलोअर्स होना बताता है कि भारत के लोग अपने स्टार्स के साथ जुड़ने के लिए कितने बेसब्र हैं और उनके बारे में जानना-सुनना चाहते हैं. वह ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्हें मैं काफी मानता हूं. मैं इस बात से खुश हूं कि हम उन्हें उनके फैंस से जोड़ने में मदद कर पाए.'

ट्विटर से क्यों बेहतर है Koo?

Koo App के फीचर्स ट्विटर जैसे ही हैं लेकिन यह प्राइवेसी के लिहाज से बेहतर है क्योंकि यह कॉल रजिस्टर का एक्सेस नहीं मांगता. जबकि ट्विटर ऐप कॉल रजिस्टर का ऐक्सेस भी मांगता है और यूजर्स का डेटा भी रजिस्टर करता है. Koo App ट्विटर के लिए बड़ा खतरा है क्योंकि अगर स्वदेशी ऐप पर लोग चले जाते हैं तो उसका सीधा-सीधा नुकसान ट्विटर को होगा.

कौन है Koo App के पीछे?

बता दें कि Koo ऐप के संस्थापक अप्रमेय राधाकृष्णा और मयंक बिदवतका हैं. राधाकृष्ण ने इससे पहले ऑनलाइन कैब बुकिंग सर्विस TaxiForSure की भी शुरुआत की थी. हालांकि बाद में ओला कैब ने इसे खरीद लिया था. Koo ऐप की पेरेंट कंपनी Bombinate Technologies Pvt Ltd. है. इस ऐप की शुरुआत 2020 में हुई थी.

गौरतलब है कि सरकार के आत्मनिर्भर ऐप इनोवेशन चैलेंज में जीत के बाद यह ऐप चर्चा में आई. पीएम मोदी ने अपने मन की बात कार्यक्रम में भी इस ऐप की चर्चा की थी.